प्रदूषण से त्रस्त परिवारों का महानगरों से पलायन, गोवा जैसे स्वच्छ क्षेत्रों की ओर रुख
दिवाली के बाद दिल्ली सहित कई महानगरों में वायु गुणवत्ता बेहद खराब हो गई है, जिससे नागरिकों का जीवन प्रभावित हो रहा है। प्रदूषण के खतरनाक स्तर ने कई परिवारों को मजबूर कर दिया है कि वे अपने स्वास्थ्य की रक्षा के लिए इन शहरों को छोड़कर गोवा जैसे स्वच्छ और शांत क्षेत्रों की ओर पलायन करें। विशेषज्ञों का कहना है कि यह एक नया सामाजिक परिदृश्य है जिसे "प्रदूषण शरणार्थी" कहा जा सकता है—जहां लोग बेहतर जीवन और सांस लेने योग्य हवा की तलाश में अपने बसे-बसाए स्थानों को छोड़ रहे हैं। इस प्रवृत्ति ने सरकार और पर्यावरण एजेंसियों को चेताया है कि प्रदूषण नियंत्रण अब केवल पर्यावरण का मुद्दा नहीं, बल्कि जनजीवन और प्रवास का भी प्रश्न बन चुका है।

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